धारा लक्ष्य समाचार पत्र रिटायर्ड हूँ पर टायर्ड बिलकुल नहीं ठीक ही कहा था उसने मैं सैनिक हूँ, रिटायर्ड हूँ पर टायर्ड बिलकुल नहीं, जिस दम ख़म से लड़ता था फ़ौज में, उस से कम दम- ख़म है अब भी नहीं। बहुत याद आते हैं वह पल, सेना में हमने जो साथ साथ रहकर गुज़ारे थे, श्रीनगर, कारगिल, लेह और द्रास में, असम, मेघालय, मणिपुर व त्रिपुरा में। बर्फीली वादियाँ ऊँची ऊँची चोटियाँ, पतली सड़कें और गहरी सी नदियाँ, गिरती पिघलती बर्फ़ में वे रेंगती थीं हमारे फ़ौजी क़ाफ़िले की…
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